पूर्वी राजस्थान नहर परियोजना
पूर्वी राजस्थान नहर परियोजना ( ईआरसीपी ) को राष्ट्रीय परियोजना घोषित करने में कोई अड़चन नहीं है । इआरसीपी की डीपीआर को तत्कालीन भाजपा सरकार द्वारा ही वर्ष 2017 में केंद्र सरकार के उपक्रम वेपकोस लिमिटेड के माध्यम से तैयार करवाया गया था । जिसकी मांग राजस्थान किसान यूनियन ने वर्षों पूर्व से लगातार की है।
जल संबंधी परियोजना के तहत की ईआरसीपी की डीपीआर उस समय राजस्थान रिवर बेसिन अथॉरिटी के चेयरमैन श्री राम वेदिरे की देखरेख में जानी-मानी अंतरराष्ट्रीय कंसलटेंसी संस्था वेप्कोस लिमिटेड से केंद्रीय जल आयोग की गाइडलाइन के अनुरूप ही बनवाई गई थी । वर्तमान में श्रीराम वेदीरे केंद्रीय जल शक्ति मंत्रालय में सलाहकार हैं । मंत्रालय के सलाहकार की देखरेख में बनी योजना पर जलशक्ति मंत्री द्वारा सवाल उठाना सिर्फ राजनीति या राजस्थान की जनता के साथ धोखा है।
अब केंद्रीय जल शक्ति मंत्री द्वारा प्रस्तावित मापदंड परिवर्तन से पूर्वी राजस्थान के किसानों को सिंचाई का पानी उपलब्ध नहीं हो पाएगा । इससे 2.80 लाख हेक्टेयर क्षेत्र के किसान सिंचाई से वंचित करने का कुछ कृत्य किया जा रहा है । अगर केंद्र सरकार की हठधर्मिता मानी गई तो पूर्वी राजस्थान का 13 जिलों का भूभाग सूखाग्रस्त बन जाएगा।
राजस्थान अन्य राज्यों से अलग राज्य है क्योंकि यहां औसत वर्षा बहुत कम होती है । अगर यह परियोजना भी ना समझी तथा भेदभाव की भेंट चढ़ गई तो राजस्थान की स्थिति भयावह होगी। जब 2005 में मध्य प्रदेश सरकार के साथ मध्य प्रदेश तथा राजस्थान इंटर स्टेट कंट्रोल बोर्ड में दोनों राज्यों की सहमति हो चुकी है तो जलशक्ति मंत्री फिजूल में ही राजनीति किसान विरोधी मानसिकता के चलते कर रहे हैं।
स्वयं प्रधानमंत्री ने अजमेर तथा जयपुर में दो बार जनसभा में भी इसे राष्ट्रीय महत्व की परियोजना का दर्जा देने का आश्वासन दिया था । गत 28 अप्रैल 2022 को केंद्रीय जल शक्ति मंत्री ने जल जीवन मिशन के लिए एक आवश्यक बैठक में सभी 25 सांसदों को बुलाया था परंतु बैठक में 13 जिलों के 10 में से 8 सांसदों का अनुपस्थित रहना केंद्र सरकार का किसान विरोधी होना दर्शाता है , यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है ।
राज्य सरकार ने इस वर्ष बजट में नोनेरा बैराज, गलवा, ईसरदा बांध, रामगढ़ तथा महलपुर बैराज के लिंक योजना की घोषणा की है । परंतु अनेक बांध जो इस योजना से जुड़ने है, जिसमें कालख बांध जयपुर की जीवन रेखा है जुड़ना बाकी है ।